आस मोहम्मद कैफ़, TwoCircles.net
मुज़फ्फ़रनगर: आज मुज़फ्फ़रनगर में चुनावी रैली को संबोधित करते हुए बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि सपा सरकार के दौरान राज्य में गुंडाराज फैला रहा है. इस दौरान राज्य में 500 से ज्यादा सांप्रदायिक दंगे हुए. इसके साथ ही उन्होंने बसपा के बेदाग चेहरे का हवाला देते हुए लोगों से इस चुनाव में बसपा की बहुमतवाली सरकार बनाने के लिए अपील की.
उन्होंने लोगों यह भी याद दिलाने से परहेज नहीं किया कि सपा या भाजपा की सरकार आने पर फिर से राज्य में दंगे भड़केंगे और यह हिन्दू या मुसलमान दोनों के लिए खतरनाक हो सकते हैं. उन्होंने यह भरोसा दिलाने की कोशिश की कि सामाजिक सुरक्षा केवल बसपा ही दे सकती है.
यहां नुमाइश ग्राउंड में मुज़फ्फ़रनगर और शामली जनपदों की नौ विधानसभाओं के लिए प्रत्याशियों की संयुक्त रैली को सम्बोधित करने आयी मायावती का जनता ने गर्मजोशी से अभिवादन किया. उन्होंने रैली में कहा कि कांग्रेस ने राजनीतिक लाभ के लिए सपा से गठबंधन किया. यह स्वार्थ की दोस्ती है. जो कांग्रेस राज्य के पिछड़ेपन और बर्बादी के लिए जिम्मेदार है, उसी ने अब गुंडाराज देने वाली सपा से गलबहियां की हैं.
बसपा प्रमुख ने कहा कि सपा के दोनों खेमे अंदर-अंदर एक दूसरे के प्रत्याशियों को हराने का काम करेंगे, जिससे भाजपा को फायदा होगा. भाजपा को रोकना है तो सपा को वोट ना देकर बसपा को वोट दें, बसपा के वोट का आधार मजबूत है, और यदि इसमें अल्पसंख्यकों का वोट जुड़ जाए तो भाजपा काबिज नहीं हो सकती.
उन्होंने कहा कि भाजपा ने लोकसभा चुनाव के दौरान किए वादे भी पूरे नहीं किए. उसके सब वादे हवा-हवाई साबित हुए. नरेंद्र मोदी को जुमलेवादी नेता बताते हुए उन्होंने कहा कि उन्होंने कालाधन लाने की बात कही थी, 15 लाख खातों में भेजने वाले थे, लेकिन कुछ नहीं किया. नोटबंदी कर लोगों की भावनाओं से खेल खेला गया. नोटबंदी से देश को क्या मिला, न तो पहले बताया और न ही नोटबंदी से फायदा बजट में बताया. इससे यह साबित हुआ कि इन्होंने ये फैसला सिर्फ अपने लाभ के लिए किया.
भाजपा पर अपना निशाना तल्ख़ करते हुए मायावती ने कहा कि भाजपा ने नोटबंदी का निर्णय जनता के मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए किया. बसपा मुखिया ने कहा कि ललित मोदी, विजय माल्या सहित कई भ्रष्ट लोगों को भाजपा ने बचाए रखा है. पीएम मोदी ने अब तक बस एक ही वादा पूरा किया है, और वो यह कि उन्होंने धन्नासेठ और पूंजीपतियों को और मालामाल किया. नोटबंदी से दस महीने पहले ही पीएम मोदी ने भाजपा, पार्टी के नेताओं और अपने पूंजीपतियों ने अपने कालेधन को सफेद करा दिया था. इसी धन से वो राज्य में चुनाव लड़ रहे हैं.
उन्होंने भाजपा को जातिवादी करार देते हुए कहा कि भाजपा सरकार ने जातिवाद की मानसिकता रखते हुए कई वर्गों का शोषण किया. अल्पसंख्यकों को गौ-तस्करों और आतंकवादी की शक से देखा जा रहा है. यूपी में भाजपा ने छह साल तक सत्ता चलायी है, इस दौरान विकास को छुआ तक नहीं, जनता को कुछ दिया नहीं, सिर्फ आरएसएस के एजेंडे पर सांप्रदायिक ताकतों को मजबूत किया है. जब केंद्र में भाजपा की सरकार होते हुए भी दिल्ली की व्यवस्था नहीं संभाल पाये, तो ऐसे लोग देश के सबसे बड़े सूबे यूपी की कानून व्यवस्था क्या संभाल पायेंगे? भाजपा केवल सर्वे पोल में खुद को साजिश के तहत आगे दिखाने का काम कर रही है.